क्या मोदी जी मौत के सौदागर हैं !
मोदी जी पर दंगों का दोष आखिर क्यों मढ़ा जा रहा है ?
जो लोग भारतीय कानून व्यवस्था पर भरोसा करते हैं उन्हें ये बात अच्छी तरह से समझ लेनी चाहिए कि उन दंगों में मोदी जी का यदि रंच मात्र दोष भी होता तो उन्हें माफ कोई क्यों कर देता ! जिसमें केंद्र में उन मोदी विरोधियों की सरकार है जो मोदी जी को बिना दोष के दिन रात कोसते हैं फिर यदि कोई दोष सिद्द हो ही जाता तो वो लोग मौन आखिर क्यों रहते !अर्थात अबतक मोदी जी की सजा का इन्तजाम हो चुका होता किन्तु बिना दोष के बिचारे वे लोग भी क्या करें !
अब मोदी जी को खून का सौदागर वो बोले जो दिन रात उस पार्टी के समर्थन में बोलता हो जिसकी केंद्र में सरकार है यह बात उस पार्टी से ही उन्हें पूछनी चाहिए कि मोदी जी को अभी तक वो बचा क्यों रही है और यदि बचा रही है तो ये और चिंता का विषय है इसका सीधा सा मतलब है कि उसे अपना कोई पुराना पाप ऐसा करने से मना कर रहा है कि यदि हमने कार्यवाही की तो कल मोदी जी यदिप्रधान मंत्री बनेंगे तो बदला ले सकते हैं तब क्या होगा क्या इस भय से केंद्र में सत्तारूढ़ दल मोदी जी पर किसी तरह की कार्यवाही से बच रहा है यदि ऐसा है भी तो मोदी जी को खून का सौदागर कहने वाले नेता जी केंद्र सरकार से खुद क्यों नहीं पूछ लेते हैं कि भाई मोदी जी को गाली देने के लिए आपने हम लोगों को तो भाड़े पर लगा रखा है किन्तु आप कोई कार्यवाही करने से डरते क्यों हैं आपकी तो उनसे पटरी भी खूब खाती है पूछ लीजिए तो सारा दूध का दूध पानी का पानी हो जाएगा ! किन्तु आपको पूछने में डर क्यों लग रहा है कहीं आपको ये तो नहीं लग रहा है जिस सजा से सुसज्जित होकर आप स्वयं कुछ दिनों के लिए बाहर निकल कर आए हैं कहीं सारी जांचें नए शिरे से न होने लगें जो मुशीबत और अधिक बढ़ जाए और यदि वास्तव में ऐसा नहीं है तो कहीं आपको जबसे सजा हुई है तब आप किसी को अपना साथी बनाने के लिए ये आरोप जबर्दस्ती मढ़ रहे है किंतु आपका उद्देश्य यदि साथी बनाना ही है तो उस पार्टी के लोगों को ले जाइए जिनसे आप यहाँ भी मित्रता निभाते रहे हैं वो लोग वहाँ भी साथ देंगे वहाँ भी माल बहुत है बड़ा भ्रष्टाचार हुआ है ले जाइए न उन्हें !किन्तु मोदी जी के चरित्र दर्पण में आप अपना चित्र देखकर भ्रमित मत होइए !अब भलाई आपकी भी इसी में है कि मान लीजिए मोदी जी निर्दोष ही हैं !
मोदी जी अभी तक की जांच रिपोर्टों में दोषी सिद्ध नहीं किए जा सके हैं फिर भी देश की कई बड़ी पार्टियाँ और नेता अपने स्वार्थ के कारण मोदी जी को 2002 के दंगों का दोषी मानते हैं
No comments:
Post a Comment